पूज्य संत स्वामी अड़गड़ानंद जी महाराज घोड़ी आश्रम पलवल हरियाणा मे सत्संग के दौरान सोमवार को श्रद्धालु भक्तों को संबोधित करते हुए कहा कि कोई पिवे रे रस राम नाम का जो पिवे सो योगी रे
अर्थात् जब तक मन आत्म चिंतन में प्रवृत्त नहीं होता तब तक कोई साधक भजन नहीं कर पाता, लेकिन जहाँ एक ईश्वर के नाम का जाप ॐ अथवा राम का जाप शुरू किया तो संयम होता जाता है, और योगी की श्रेणी में साधक धीरे, धीरे भजन के माध्यम से पहुँचता है। पूज्य स्वामी जी बताये कि धर्मशास्त्र यथार्थ गीता जनमानस के लिए कल्याणकारी है। जो हर घर मे होनी चाहिए। राम नाम मे ऐसा जादू है निरन्तर मन मे भजने से मनुष्य का कायाकल्प हो सकता है। मन का विकार खत्म हो जायेगा। राम रस का रस्सास्वादन कर सकते है। बशर्ते मन को राम मे रमाना होगा। जब साधक ध्यान मग्न होता है। राम नाम के जाप से अमृत रुपी राम रस टपकने लगता है। जिसके स्वाद और आनंद का वर्णन शब्दो मे नही किया जा सकता है। महाराज जी के सत्संग के पूर्व श्री तानसेन महाराज,लाले महाराज, चिन्तन्मयानंद महाराज, अकेला महाराज, गिरी महाराज इत्यादि संतों ने भी सतसंग के माध्यम से भक्तो के बीच अपने,अपने विचार व्यक्त किये। पूज्य स्वामी जी के साथ साथ दीपक महाराज, मनीष महाराज, अखिलेश महाराज, आनंद महाराज, मुनक्का महाराज, मंतराम महाराज,
राजेश बाबा, राकेश बाबा आदि संत उपस्थित रहे। जेडी सिंह
Home / सुर्खियां / राम नाम मे जादू ,भजने से हो सकता है मनुष्य का कायाकल्प,घोड़ी आश्रम पलवल हरियाणा मे स्वामी अड़गड़ानंद महाराज का प्रवचन