मुबंई। प्रताप फाउंडेशन के चेयरमैन विक्रम प्रताप सिंह ने कहां कि सदियों से भारत की संस्कृति नैतिक मूल्यों व गुणों से परिपूर्ण है। हमारी संस्कृति नैतिक आचार-विचार व व्यवहार का पालन करने के लिए सदैव प्रेरित करती है।
उन्होंने कहां कि हमारे विचार, कर्म और व्यवहार सद्गुणों से प्रेरित हों और वे धर्म, संस्कृति व राष्ट्र के लिए हितकारी हों।आध्यात्मिक तत्वों व शक्तियों का संवर्धन करने वाले ऐसे विचारों, व्यवहारों व गुणों को नैतिकता कहते हैं। अत्यंत विकट परिस्थितियों में भी आध्यात्मिक गुणों का पालन करते हुए अपने कर्म विशेष के प्रति जो सदाचरण कायम रख सके, वही नैतिक है।ऐसा तभी संभव है, जब मनुष्य अपने भीतर के अहंकार, स्वार्थ व स्वनिर्मित आत्मघाती भय से परे उठने की साधना करे। धर्म, राष्ट्र व संस्कृति को अपने जीवन की धुरी बनाए। नैतिक मूल्य हमें उचित-अनुचित आचार व्यवहार का ज्ञान कराते हैं। हमारी संस्कृति महान है।हमारे इतिहास में ऐसे अनेक ऋषि-मुनियों, महापुरुषों ने जन्म लिए है जो हमे सदाचार का प्रेरणा देते है। आकाश सिंह