जौनपुर। बच्चे माता पिता के साथ देश के भविष्य है। जिन पर भारत का बुनियाद टिका है। निपुण बच्चे ही आगे देश के सुनहरे भविष्य के निर्माता हैं। बेसिक स्तर पर बच्चों को जैसा संस्कार मिलेगा वैसा ही उनके अन्दर प्रकृति बनेगा फिर वैसा ही उनका आचरण होगा। जिले के रामनगर विकास खण्ड के सहायक बेसिक शिक्षा अधिकारी सुभाष गुप्ता से बातचीत हुई। जिसमें उन्होंने कहा कि भारतीय कल्चर और इंग्लिश कल्चर में सामान्जस बेहद जरूरी है। बताया कि सरकारी प्राथमिक और जूनियर विद्यालयो मे शैक्षिक निपुणता के साथ नैतिक शिक्षा का ज्ञान दिया जाता है। महापुरुषो की कहानी बतायी जाती है। जिससे बच्चे सदमार्ग पर चलने के लिए प्रेरित हो, कहा कि बच्चों मे बड़े छोटे का लिहाज के साथ सम्मान करने की बात बतायी जाती है। अच्छा व्यवहार करने की सीख दी जाती है। साथ ही यह भी कहां जाता है किसी से भी उदण्डता पूर्वक व्यवहार न करने की नसीहत दी जाती है। कार्य व्यवहार से किसी को दुखी न किया जाय।कटु बचन न बोला जाय, वाणी मधुर हो,घर परिवार और समाज के सुरक्षा के लिए भारतीय कल्चर अपनाना होगा।जबकि देश की अर्थव्यवस्था के सफल संचालन हेतु इंग्लिश कल्चर को अपनाना चाहिए। उन्होंने कहा कि बच्चों के अभिवावकों को संस्कृति, सभ्यता,आदर्शवादिता, नैतिकता, सामाजिक परिवेश पर ध्यान देते हुए बच्चों के परवरिश पर विशेष ध्यान देना चाहिए। रामनगर विकास खण्ड क्षेत्र मे 97 प्राथमिक,31 जूनियर तो 18 कम्पोजिट विद्यालय है। जिसमें 16 हजार निपुण बच्चे शिक्षारत है।
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