जौनपुर। विद्युत विभाग की सरकार विरोधी मुहिम की चर्चा जन,जन मे शुरु है। दरअसल लोकसभा चुनाव 2024 के मद्देनजर विद्युत विभाग का एक दल सक्रिय है। जो टारगेट उन्ही को कर रहा है जो भाजपा से जुड़े लोग है। मन्शा है सरकार से लोग असंतुष्ट हो और बगावत पर उतर जाय। संभवत ग्रामीण परिवेश मे देखा जाय तो अमूमन लोग जो बिजली का कनेक्शन लिए है नही लिये है अन्धाधुन्ध बिजली का उपयोग कर रहे है। जिसमे सभी जात धर्म मजहब के लोग शामिल है। लाइट पंखा,समरसेबुल,एसी,कूलर,टूल्लू फ्रीज,इनडेक्शन पर खाना बन रहा है। लोग गैस बचा रहे है। बहुत से ऐसे लोग और प्रमाण मिल जायेगा। जिसका कनेक्शन हुआ है। रसीद मिला है। न बिल आ रहा है न मीटर लगा है। विभाग बेसुध है।अचानक जागा तो बिल आया सत्तर हजार, चालीस हजार, लाख। गांव मे आज भी गरीब बसते है। अमीर शहरवासी है। मांगलिक आयोजन तक आते है,कोरोना काल मे गांव लोगो को याद आया। बिजली विभाग के कारस्तानी से जनता भलीभांति से परिचित है और आसू रो रहा है। नेवढिया क्षेत्र मे विद्युत विभाग से जुड़े कुछ विभागीय और एक दस्ता के लोग m और y कटेगरी की राजनीति से प्रेरित लग रहे है। ऐसा लोगो मे चर्चा है। उन्ही जाति के लोगो को परेशान कर रहे है जो भाजपा के वोटर है। जैसा बिजली विभाग का आचरण पवित्र होना चाहिए। भेदभाव कैसा,सबका बिजली चेक करो और जुर्माना लगाओ,जेब खाली रंखो,आराम मिलेगा। बिजली विभाग ईश्वर के प्रकाश से तेरा वैभव है। मोदी की राजनीति संतुष्टिकरण की है। ऐसे मे तुष्टीकरण कब तक चलेगा। व्यवस्था सुधार के लिए विभाग का निर्णय जरुरी होता है। लेकिन उसमे निष्पक्षता और समता का भाव होना चाहिए। सबके लिए समान भाव का आदर ही भारतीय संस्कृति है। कुछ को टारगेट करना तुष्टीकरण का परिचायक है। जगदीश सिंह संपादक
Home / सुर्खियां / योगी जी तीसरी आख खोल लीजिए, तुष्टीकरण का पैतरा शुरु है,मोदी जी का संतुष्टीकरण हावी है,फिर विद्युत विभाग से बचिये 2024 का खेल शुरु है